24.1 C
Bhubaneswar
December 18, 2024
Ashtakam

Parvati Vallabha Ashtakam | श्री पार्वतीवल्लभाष्टकम्

Credit the Video: Sadhguru Time YouTube Channel

Shri Parvati Vallabh Ashtakam – If you chant every day with a calm mind then you got wealth and fame. Parvati Vallabha Ashtakam Chanting to Attract Loving and Stable Relationships.

Parvati Vallabha Ashtakam

Namo Bhutanatham Namo Devadevam
Namah Kalakalam Namo Divyatejam ।
Namah Kamabhasmam Namassantasilam
Bhaje Parvativallabham Nilakantham ॥ 1 ॥

Sada Tirthasiddham Sada Bhaktaraksam
Sada Saivapujyam Sada Subhrabhasmam ।
Sada Dhyanayuktam Sada Jnanatalpam
Bhaje Parvativallabham Nilakantham ॥ 2 ॥

SmaSanam Sayanam Mahasthanavasam
Sariram Gajanam Sada Carmavestam ।
PiSacam NiSōcam PaSunam Pratistham
Bhaje Parvativallabham Nilakantham ॥ 3 ॥

Phaninagakanthe Bhujaṅgadyanekam
Gale Runḍamalam Mahavira Suram ।
Kativyaghracarmam Citabhasmalepam
Bhaje Parvativallabham Nilakantham ॥ 4 ॥

SiraSSuddhagaṅga Siva Vamabhagam
BrHaddirghakeSam Sada Mam Trinetram ।
Phaninagakarnam Sada Phalacandram
Bhaje Parvativallabham Nilakantham ॥ 5 ॥

Kare Suladharam MahakastanaSam
SureSam VareSam MaheSam JaneSam ।
DhaneSamareSam DhvajeSam GiriSam
Bhaje Parvativallabham Nilakantham ॥ 6 ॥

Udasam Sudasam Sukailasavasam
Dharanirdharam Samsthitam Hyadidevam ।
Ajahemakalpadrumam Kalpasevyam
Bhaje Parvativallabham Nilakantham ॥ 7 ॥

Muninam Varenyam Gunam Rupavarnam
Dvijaissampathantam Sivam VedaSastram ।
Ahō Dinavatsam KrPalam MaheSam
Bhaje Parvativallabham Nilakantham ॥ 8 ॥

Sada Bhavanatham Sada Sevyamanam
Sada Bhaktidevam Sada Pujyamanam ।
Maya Tirthavasam Sada Sevyamekam
Bhaje Parvativallabham Nilakantham ॥ 9 ॥

॥ Iti Srimacchaṅkarayōgindra Viracitam Parvativallabhastakam ॥

यह भी देखें: Om Krishnaya Vasudevaya Haraye

श्री पार्वतीवल्लभाष्टकम्

नमो भूतनाथं नमो देवदेवं
नमः कालकालं नमो दिव्यतेजम् ।
नमः कामभस्मं नमश्शान्तशीलं
भजे पार्वतीवल्लभं नीलकण्ठम् ॥ १ ॥

सदा तीर्थसिद्धं सदा भक्तरक्षं
सदा शैवपूज्यं सदा शुभ्रभस्मम् ।
सदा ध्यानयुक्तं सदा ज्ञानतल्पं
भजे पार्वतीवल्लभं नीलकण्ठम् ॥ २ ॥

श्मशानं शयानं महास्थानवासं
शरीरं गजानां सदा चर्मवेष्टम् ।
पिशाचं निशोचं पशूनां प्रतिष्ठं
भजे पार्वतीवल्लभं नीलकण्ठम् ॥ ३ ॥

फणीनागकण्ठे भुजङ्गाद्यनेकं
गले रुण्डमालं महावीर शूरम् ।
कटिव्याघ्रचर्मं चिताभस्मलेपं
भजे पार्वतीवल्लभं नीलकण्ठम् ॥ ४ ॥

शिरश्शुद्धगङ्गा शिवा वामभागं
बृहद्दीर्घकेशं सदा मां त्रिणेत्रम् ।
फणीनागकर्णं सदा फालचन्द्रं
भजे पार्वतीवल्लभं नीलकण्ठम् ॥ ५ ॥

करे शूलधारं महाकष्टनाशं
सुरेशं वरेशं महेशं जनेशम् ।
धनेशामरेशं ध्वजेशं गिरीशं
भजे पार्वतीवल्लभं नीलकण्ठम् ॥ ६ ॥

उदासं सुदासं सुकैलासवासं
धरानिर्धरं संस्थितं ह्यादिदेवम् ।
अजाहेमकल्पद्रुमं कल्पसेव्यं
भजे पार्वतीवल्लभं नीलकण्ठम् ॥ ७ ॥

मुनीनां वरेण्यं गुणं रूपवर्णं
द्विजैस्सम्पठन्तं शिवं वेदशास्त्रम् ।
अहो दीनवत्सं कृपालं महेशं
भजे पार्वतीवल्लभं नीलकण्ठम् ॥ ८ ॥

सदा भावनाथं सदा सेव्यमानं
सदा भक्तिदेवं सदा पूज्यमानम् ।
मया तीर्थवासं सदा सेव्यमेकं
भजे पार्वतीवल्लभं नीलकण्ठम् ॥ ९ ॥

॥ इति श्रीमच्छङ्करयोगीन्द्र विरचितं पार्वतीवल्लभाष्टकम् ॥

इसे भी पढ़े : समस्त कष्टों से मुक्ति के लिए ॐ कृष्णाय वासुदेवाय मंत्र

Credit the Video : Step Out YouTube Channel

इसे भी पढ़े : भजगोविन्दं भजगोविन्दं गोविन्दं भज मूढमते

इसे भी पढ़े : ओम का अर्थ, उत्पत्ति, महत्व, उच्चारण, जप करने का तरीका और चमत्कार

Disclaimer : Bhakti Bharat Ki / भक्ति भारत की (https://bhaktibharatki.com/) किसी की आस्था को ठेस पहुंचना नहीं चाहता। ऊपर पोस्ट में दिए गए उपाय, रचना और जानकारी को भिन्न – भिन्न लोगों की मान्यता और जानकारियों के अनुसार, और इंटरनेट पर मौजूदा जानकारियों को ध्यान पूर्वक पढ़कर, और शोधन कर लिखा गया है। यहां यह बताना जरूरी है कि (https://bhaktibharatki.com/) किसी भी तरह की मान्यता, जानकारी की पूर्ण रूप से पुष्टि नहीं करता। श्री पार्वतीवल्लभाष्टकम् के उच्चारण, किसी भी जानकारी या मान्यता को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ, ज्योतिष अथवा पंड़ित की सलाह अवश्य लें। श्री पार्वतीवल्लभाष्टकम्​ का उच्चारण करना या ना करना आपके विवेक पर निर्भर करता है।

हमारे बारें में : आपको Bhakti Bharat Ki पर हार्दिक अभिनन्दन। दोस्तों नमस्कार, यहाँ पर आपको हर दिन भक्ति का वीडियो और लेख मिलेगी, जो आपके जीवन में अदुतीय बदलाव लाएगी। आप इस चैनल के माध्यम से ईश्वर के उपासना करना (जैसे कि पूजा, प्रार्थना, भजन), भगवान के प्रति भक्ति करना (जैसे कि ध्यान), गुरु के चरणों में शरण लेना (जैसे कि शरणागति), अच्छे काम करना, दूसरों की मदद करना, और अपने स्वभाव को सुधारकर, आत्मा को ऊंचाईयों तक पहुंचाना ए सब सिख सकते हैं। भक्ति भारत की एक आध्यात्मिक वेबसाइट, जिसको देखकर आप अपने मन को शुद्ध करके, अध्यात्मिक उन्नति के साथ, जीवन में शांति, समृद्धि, और संतुष्टि की भावना को प्राप्त कर सकते। आप इन सभी लेख से ईश्वर की दिव्य अनुभूति पा सकते हैं। तो बने रहिये हमारे साथ:

बैकलिंक : यदि आप ब्लॉगर हैं, अपनी वेबसाइट के लिए डू-फॉलों लिंक की तलाश में हैं, तो एक बार संपर्क जरूर करें। हमारा वाट्सएप नंबर हैं 9438098189.

विनम्र निवेदन : यदि कोई त्रुटि हो तो आप हमें यहाँ क्लिक करके E-mail (ई मेल) के माध्यम से भी सम्पर्क कर सकते हैं। धन्यवाद।

सोशल मीडिया : यदि आप भक्ति विषयों के बारे में प्रतिदिन कुछ ना कुछ जानना चाहते हैं, तो आपको Bhakti Bharat Ki संस्था के विभिन्न सोशल मीडिया खातों से जुड़ना चाहिए। इस ज्ञानवर्धक वेबसाइट को अपनें मित्रों के साथ अवश्य शेयर करें। उनके लिंक हैं:

Facebook
Instagram
YouTube

कुछ और महत्वपूर्ण लेख:

Hari Sharanam
नित्य स्तुति और प्रार्थना
Om Damodaraya Vidmahe
Rog Nashak Bishnu Mantra
Ram Gayatri Mantra
Dayamaya Guru Karunamaya

Related posts

Nirashrayastakam | Nirasrayastakam | ନିରାଶ୍ରୟାଷ୍ଟକମ୍

bbkbbsr24

Bhavani Ashtakam: भवानि अष्टकं | भवान्यष्टकम् | श्री भवानी अष्टकम का पाठ, उपासना, शरणागति और महत्व

bbkbbsr24

Amarnath Ashtakam | श्री अमरनाथाष्टकम्

Bimal Kumar Dash